डायबिटीज का आंखों पर क्या असर पड़ता है और बचने के लिए क्या हैं उपाय? देखें पूरी जानकारी

आंखों की समस्या या फिर नजर कमजोर होने पर आप उसके पीछे के कारण ढूंढ़ने में लग जाते हैं। अगर आंखों में मोतियाबिंद या फिर धुंधलापन आता है तो आप मोबाइल और लैपटाॅप आदि के अधिक इस्तेमाल के बारे में सोचकर इस समस्या का कारण जानने की कोशिश करते हैं। मगर, कभी आपने सोचा है कि आंखों में होने वाली परेशानियों के पीछे डायबिटीज यानि मधुमेह भी एक मुख्य कारण हो सकता है क्योंकि डायबिटिक रेटिनोपैथी एक ऐसी आंख की स्थिति है जो मधुमेह से पीड़ित लोगों में दृष्टि हानि और अंधेपन का कारण बन सकती है। इसलिए इस लेख में आप 2- डायबिटीज का आंखों पर क्या असर पड़ता है और इससे कैसे बचाव किया जा सकता है के बारे में विस्तार से जानेंगे।

डायबिटीज का आंखों पर क्या असर पड़ता है? 

रिपोर्ट्स और रिसर्च के अनुसार, मानव शरीर के लिए डायबिटीज काफी नुकसान पहुंचाती है और इसका असर पूरे शरीर के अलावा मानव की आंखों पर भी पड़ता है। लंबे समय से डायबिटीज का होना आंखों को नुकसान पहुंचाता है। 


डायबिटीज शरीर की छोटी रक्त वाहिकाओं को नुकसान पहुंचाती है और उन्हें कमजोर भी करती है। इस कारण ब्लड सप्लाई में रुकावट होती है और इसका असर आंखों की रेटिना पर पड़ता है। रेटिना की इस समस्या को डायबिटिक रेटिनोपैथी कहते हैं और इससे रेटिना के मैक्यूला में सूजन आ जाती है। आपको बता दें कि डायबिटिक रेटिनोपैथी की समस्या टाइप-1 और टाइप-2 से पीड़ित किसी भी व्यक्ति को सकती है। 


इसके अलावा, ग्लूकोमा और मोतियाबिंद भी डायबिटीज पीड़ित व्यक्ति में पहले और तेजी से बढ़ सकता है। डायबिटीज बढ़ने से आंखों के लेंस में सूजन आ सकती है और इससे दृष्टि धुंधली हो जाती है। यदि आपका रक्त शर्करा स्तर कम से सामान्य तक तेजी से बदलता है तो आपकी आँख के लेंस का आकार प्रभावित हो सकता है और आपकी दृष्टि धुंधली हो सकती है।


जब किसी भी व्यक्ति की डायबिटीज ज्यादा बढ़ जाती है और आंखों में भी समस्या बढ़ती है तो आंखों से जुड़ी समस्याओं के लिए मेडिकल लैंग्वेज में डायबिटिक आई डिजीज शब्द का प्रयोग किया जाता है।

बचने के लिए करें ये उपाय

डायबिटीज से संबंधित आंखों की समस्याओं को रोकने के तरीके इस प्रकार हैं-

अगर आपको डायबिटीज है तो समय-समय पर आंखों की जांच कराते रहें।

अपने रक्त शर्करा के स्तर, रक्तचाप और कोलेस्ट्रॉल के स्तर को नियंत्रित करना। 

आपका डॉक्टर आपको यह बता सकता है कि अपने रक्त शर्करा को सामान्य कैसे रखें और ऐसे उतार-चढ़ाव से कैसे बचें जो डायबिटीज के कारण होने वाली आंखों की बीमारियों का कारण बन सकते हैं। 

अपना रक्तचाप और कोलेस्ट्रॉल कम करें। उच्च रक्तचाप और कोलेस्ट्रॉल से निपटने के तरीकों के बारे में अपने डॉक्टर से सुझाव लें। 

धूम्रपान बंद करें, क्योंकि इससे आपकी रक्त वाहिकाओं को और नुकसान पहुंचा सकता है, जिसमें आपकी आंखों की रक्त वाहिकाएं भी शामिल हैं।

धूप का चश्मा पहनकर खुद को सूरज की हानिकारक पराबैंगनी किरणों से बचाएं। इन किरणों के संपर्क में आने से मोतियाबिंद की प्रगति तेज हो सकती है।


आशा है कि इस लेख में आपको डायबिटीज का आंखों पर क्या असर पड़ता है और बचने के उपाय के बारे में पूरी जानकारी मिल गई होगी। इसी तरह अन्य ज्ञानवर्धक आर्टिकल्स पढ़ने के लिए बनें रहे हमारी वेबसाइट पर।

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